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चक्रवात मोन्था से निपटने के लिए ओडिशा अग्निशमन सेवाएं पूरी तरह तैयार : मुख्य अग्निशमन अधिकारी

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भुवनेश्वर, 27 अक्‍टूबर . बंगाल की खाड़ी में चक्रवात मोंथा के तीव्र होने के साथ, Odisha अग्निशमन एवं आपातकालीन सेवा विभाग ने राज्य भर में किसी भी संभावित स्थिति से निपटने के लिए व्यापक तैयारी शुरू कर दी है. मुख्य अग्निशमन अधिकारी रमेश चंद्र माझी ने मीडिया को विभाग की तैयारियों और तैनाती योजनाओं के बारे में जानकारी दी.

मुख्य अग्निशमन अधिकारी माझी ने बताया कि विभाग ने आठ उच्च जोखिम वाले दक्षिणी जिलों में उन्नत बचाव और जल निकासी मशीनों से लैस 123 टीमें तैनात की हैं. इनमें उच्च क्षमता वाले पंप, पावर चेनसॉ और उखड़े हुए पेड़ों और शाखाओं को हटाने के लिए सड़क साफ करने वाले उपकरण शामिल हैं.

उन्‍होंने कहा कि निचले और बाढ़-प्रवण शहरी क्षेत्रों में उच्च क्षमता वाले डिवाटरिंग पंप जुटाए गए हैं. Government ने रात के संचालन के लिए दूरबीन रोशनी सहित आवश्यक बचाव और प्रकाश उपकरण प्रदान किए हैं. उन्होंने कहा कि वरिष्ठ अधिकारी Government के आपदा प्रबंधन अधिकारियों के समन्वय में क्षेत्र संचालन की निगरानी कर रहे हैं.

Odisha अग्निशमन सेवा विभाग राज्य भर में 346 फायर स्टेशन संचालित करता है, जो सभी हाई अलर्ट पर हैं. कटक आरडीसी सर्कल और संबलपुर आरडीसी सर्कल की अतिरिक्त टीमों को संवेदनशील क्षेत्रों का समर्थन करने के लिए जुटाया गया है. तेजी से प्रतिक्रिया के लिए कुल 123 टीमों को रणनीतिक स्थानों पर पहले से तैनात किया गया है.

माझी ने कहा, “हमारा विभाग पूरी तरह से सुसज्जित है और चक्रवात से उत्पन्न होने वाली किसी भी स्थिति से निपटने के लिए तैयार है. हम Government के ‘जीरो कैजुअल्टी मिशन’ को हासिल करने के लिए प्रतिबद्ध हैं. हर फील्ड अधिकारी को सार्वजनिक सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए तुरंत कार्रवाई करने का निर्देश दिया गया है.”

माझी ने जनता से अपील करते हुए नागरिकों से चक्रवात के दौरान घर के अंदर रहने, अनावश्यक रूप से बाहर निकलने से बचने और टेलीविजन और रेडियो के माध्यम से प्रसारित आधिकारिक सलाह का पालन करने का आग्रह किया.

उन्होंने कहा, “आपात स्थिति में लोगों से तत्काल सहायता के लिए 112 आपातकालीन हेल्पलाइन पर कॉल करने का अनुरोध किया जाता है. विभाग ने जिला प्रशासन के समन्वय में कंधमाल जैसे भूस्खलन संभावित क्षेत्रों में जेसीबी और अतिरिक्त बचाव इकाइयों को भी स्टैंडबाय पर रखा है.”

एएसएच/एबीएम

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