आगरा: उत्तर प्रदेश में भारी बारिश के कारण यमुना नदी का जलस्तर लगातार बढ़ रहा है। मथुरा के गोकुल बैराज से 178,000 क्यूसेक पानी छोड़े जाने के बाद आगरा में प्रशासन ने तटवर्ती इलाकों में हाई अलर्ट जारी किया है। बढ़ते जलस्तर के कारण शहर और आसपास के क्षेत्रों में जनजीवन प्रभावित हो रहा है।
कैलाश महादेव मंदिर बाढ़ की चपेंट मेंआगरा का प्रमुख आस्था केंद्र कैलाश गांव बाढ़ की चपेट में है। कैलाश महादेव मंदिर और आसपास के क्षेत्रों में पानी भर गया है, जिससे करीब 20 परिवारों ने पलायन किया है। मंदिर के महंत निर्मल गिरि ने बताया कि प्रशासन ने गांव में एनडीआरएफ की टीम तैनात की है और बाढ़ राहत चौकियां स्थापित की गई हैं। बिजली आपूर्ति को सुरक्षा के लिए अस्थायी रूप से बंद कर दिया गया है।
ताजमहल क्षेत्र में पर्यटकों की आवाजाही पर रोकयमुना के बढ़ते जलस्तर के कारण ताजमहल के पीछे दशहरा घाट पर ताज व्यू प्वाइंट पर पर्यटकों की आवाजाही रोक दी गई है। आगरा शहर के हाथी घाट पर मुख्य मार्ग तक पानी पहुंच गया है, जिससे यातायात और दैनिक गतिविधियां प्रभावित हुई हैं।
प्रशासन की तैयारियां और राहत कार्यप्रशासन ने एहतियात के तौर पर आगरा शहर और देहात में चार फ्लड शेल्टर होम स्थापित किए हैं। जिलाधिकारी सहित कई अधिकारी बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों का दौरा कर रहे हैं। राहत कैंप कार्यालय बनाए गए हैं, जहां प्रभावित लोगों के लिए ठहरने और भोजन की व्यवस्था की गई है। एनडीआरएफ और पुलिस टीमें स्थिति पर नजर रख रही हैं और प्रभावित लोगों को राहत सामग्री वितरित की जा रही है।
महंत निर्मल गिरि ने कहा, प्रशासन की व्यवस्था ठीक है। राहत कैंपों में लोगों के लिए सभी जरूरी सुविधाएं उपलब्ध कराई जा रही हैं। कुछ परिवारों ने पलायन किया है, और हम भी तैयार हैं कि यदि पानी और बढ़ता है तो घरों में ताले लगाकर सुरक्षित स्थान पर चले जाएंगे।
यमुना नदी का जलस्तर लगातार बढ़ रहा है और अभी तक इसमें कमी के कोई संकेत नहीं हैं। प्रशासन और स्थानीय लोग स्थिति पर नजर बनाए हुए हैं। बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों में राहत और बचाव कार्य तेजी से चल रहे हैं, लेकिन बढ़ते पानी के कारण चुनौतियां बनी हुई हैं।
कैलाश महादेव मंदिर बाढ़ की चपेंट मेंआगरा का प्रमुख आस्था केंद्र कैलाश गांव बाढ़ की चपेट में है। कैलाश महादेव मंदिर और आसपास के क्षेत्रों में पानी भर गया है, जिससे करीब 20 परिवारों ने पलायन किया है। मंदिर के महंत निर्मल गिरि ने बताया कि प्रशासन ने गांव में एनडीआरएफ की टीम तैनात की है और बाढ़ राहत चौकियां स्थापित की गई हैं। बिजली आपूर्ति को सुरक्षा के लिए अस्थायी रूप से बंद कर दिया गया है।
#WATCH आगरा (उत्तर प्रदेश): आगरा में यमुना नदी खतरे के निशान से ऊपर बह रही है। श्री कैलाश महादेव मंदिर और रिहायशी इलाकों में बाढ़ का पानी घुस गया है। pic.twitter.com/lKqBHNVFuT
— ANI_HindiNews (@AHindinews) September 8, 2025
ताजमहल क्षेत्र में पर्यटकों की आवाजाही पर रोकयमुना के बढ़ते जलस्तर के कारण ताजमहल के पीछे दशहरा घाट पर ताज व्यू प्वाइंट पर पर्यटकों की आवाजाही रोक दी गई है। आगरा शहर के हाथी घाट पर मुख्य मार्ग तक पानी पहुंच गया है, जिससे यातायात और दैनिक गतिविधियां प्रभावित हुई हैं।
प्रशासन की तैयारियां और राहत कार्यप्रशासन ने एहतियात के तौर पर आगरा शहर और देहात में चार फ्लड शेल्टर होम स्थापित किए हैं। जिलाधिकारी सहित कई अधिकारी बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों का दौरा कर रहे हैं। राहत कैंप कार्यालय बनाए गए हैं, जहां प्रभावित लोगों के लिए ठहरने और भोजन की व्यवस्था की गई है। एनडीआरएफ और पुलिस टीमें स्थिति पर नजर रख रही हैं और प्रभावित लोगों को राहत सामग्री वितरित की जा रही है।
महंत निर्मल गिरि ने कहा, प्रशासन की व्यवस्था ठीक है। राहत कैंपों में लोगों के लिए सभी जरूरी सुविधाएं उपलब्ध कराई जा रही हैं। कुछ परिवारों ने पलायन किया है, और हम भी तैयार हैं कि यदि पानी और बढ़ता है तो घरों में ताले लगाकर सुरक्षित स्थान पर चले जाएंगे।
यमुना नदी का जलस्तर लगातार बढ़ रहा है और अभी तक इसमें कमी के कोई संकेत नहीं हैं। प्रशासन और स्थानीय लोग स्थिति पर नजर बनाए हुए हैं। बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों में राहत और बचाव कार्य तेजी से चल रहे हैं, लेकिन बढ़ते पानी के कारण चुनौतियां बनी हुई हैं।
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