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ददरी मेला बलिया की सांस्कृतिक पहचान : डीएम

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डीएम ने प्रेसवार्ता में दी जानकार

बलिया, 8 नवंबर (Udaipur Kiran) . जिलाधिकारी मंगला प्रसाद सिंह ने आज Saturday को कहा कि ददरी मेला बलिया की सांस्कृतिक पहचान है. इसलिए भव्यता और पारंपरिक स्वरूप में मेले को आयोजित किया जा रहा है.

जिलाधिकारी मंगला प्रसाद सिंह ने आज कलेक्ट्रेट सभागार में प्रेसवार्ता में बताया कि इस ऐतिहासिक ददरी मेला का शुभारंभ छह नवंबर को परिवहन मंत्री दयाशंकर सिंह द्वारा भूमि पूजन के साथ किया गया. मेला क्षेत्र को छह सेक्टर और दो जोन में विभाजित किया गया है. लगभग 89 एकड़ भूमि में फैले इस मेले में विविध सांस्कृतिक, धार्मिक और खेलकूद कार्यक्रम आयोजित किए जाएंगे. प्रेसवार्ता में मुख्य विकास अधिकारी ओजस्वी राज व Superintendent of Police ओमवीर सिंह भी उपस्थित रहे.

मेले में लगीं 12 सौ दुकानें

जिलाधिकारी ने बताया कि वर्ष 2024 में 557 दुकानें आवंटित की गई थीं, जबकि इस बार लगभग 1250 दुकानें लगाई जा रही हैं. बड़े दुकानों का शुल्क आठ हजार और छोटे दुकानों का छह हजार तय किया गया है. मेले की लगभग 80 प्रतिशत दुकानें स्थापित हो चुकी हैं और श्रद्धालुओं का आगमन धीरे-धीरे बढ़ रहा है.

ऐतिहासिक भारतेन्दु कला मंच तैयार

मेले में दंगल, वॉलीबॉल, हॉकी और Football जैसी प्रतियोगिताएं आयोजित होंगी. साथ ही धार्मिक, भोजपुरी मनोरंजन, लोकगायन, लोकगीत, स्थानीय कलाकारों और Bollywood कलाकारों के कार्यक्रम भी प्रस्तुत किए जाएंगे. कलाकारों के लिए विशेष भारतेंदु मंच तैयार करने के लिए उनके आवागमन के लिए विशेष व्यवस्था भी की गई है.

सीसीटीवी से रखेंगे नजर

डीएम ने बताया कि मेले में जर्मन हैंगर लगाए जा रहे हैं. प्रकाश व्यवस्था, पेयजल, अस्पताल, पीए सिस्टम और सीसीटीवी कैमरों की व्यवस्था सुनिश्चित की गई है. मेला क्षेत्र में 150 शौचालयों का निर्माण किया जा रहा है, जिनमें से 50 शौचालय तैयार हो चुके हैं. यातायात व्यवस्था के लिए तीन बड़े पार्किंग स्थल बनाए गए हैं. दोपहिया वाहनों के लिए लगभग 250 और चारपहिया वाहनों के लिए 500 से अधिक वाहनों की व्यवस्था है. खरीदारी के लिए भी जोनवार व्यवस्था की गई है.

(Udaipur Kiran) / नीतू तिवारी

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